tag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post6747362063555110835..comments2023-10-20T18:30:34.424+05:30Comments on बैसवारी baiswari: बुरा मान गए !संतोष त्रिवेदीhttp://www.blogger.com/profile/00663828204965018683noreply@blogger.comBlogger25125tag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-18003368554482112162011-09-17T09:00:59.110+05:302011-09-17T09:00:59.110+05:30@ वाणी गीत आपने प्रयास किया,ज़रूर किसी न किसी हद ...@ वाणी गीत आपने प्रयास किया,ज़रूर किसी न किसी हद तक सफल हुआ.हमारे प्रयास से और बेहतरीन भी कोई और कर सकता है...आभार आपका !<br /><br />@ आशा जी , आपका आभार आपको सब कुछ पसंद आया !संतोष त्रिवेदीhttps://www.blogger.com/profile/00663828204965018683noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-35902618146004577432011-09-17T02:56:33.847+05:302011-09-17T02:56:33.847+05:30क्या बात है गज़ल, गायकी और टिप्पणियां मज़ा आ गया ।...क्या बात है गज़ल, गायकी और टिप्पणियां मज़ा आ गया ।Asha Joglekarhttps://www.blogger.com/profile/05351082141819705264noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-59913287301852825062011-09-16T16:53:57.607+05:302011-09-16T16:53:57.607+05:30बुरा मान गये पर मैंने भी लिखा था ,मगर बहुत कोशिश...बुरा मान गये पर मैंने भी लिखा था ,मगर बहुत कोशिश करने पर भी ग़ज़ल पूरी नहीं लिख पाई ...<br />" मेरे ख्वाबों का महल शीशे का, वो पत्थर उठाये हाथों में <br />एक वार हमने बचाया तो बुरा मान गये <br />सर झुकाए सलाम करते थे तो ठीक था <br />डाल आँखों में आँखें मुस्कुराये तो बुरा मान गये "<br /><br />आपकी ग़ज़ल अच्छी लगी!वाणी गीतhttps://www.blogger.com/profile/01846470925557893834noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-70537494238615589302011-09-15T09:56:22.145+05:302011-09-15T09:56:22.145+05:30सितम भी सहे हमने, गुनहगार भी हमीं ,
यही बात समझाई ...सितम भी सहे हमने, गुनहगार भी हमीं ,<br />यही बात समझाई तो बुरा मान गए !५!<br />बहुत खूब!मनोज कुमारhttps://www.blogger.com/profile/08566976083330111264noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-75378007000068299582011-09-15T09:25:06.243+05:302011-09-15T09:25:06.243+05:30@Arvind Mishra :
धन्य हो गुरुदेव,अपने चेले को यूँ ...@Arvind Mishra :<br />धन्य हो गुरुदेव,अपने चेले को यूँ असहाय छोड़कर कहाँ चल दिए ? वैसे हम अतर्क-पूर्ण बहस में नहीं पड़ना चाहते पर कुछ लोगों को तो महारत हासिल है !संतोष त्रिवेदीhttps://www.blogger.com/profile/00663828204965018683noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-55357632475546987612011-09-15T09:17:10.025+05:302011-09-15T09:17:10.025+05:30अब आप भिड़े रहिये-मैडम no.1
से ...अब आप भिड़े रहिये-मैडम no.1<br /> से ...Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-16240647607885766362011-09-15T09:08:53.030+05:302011-09-15T09:08:53.030+05:30@ रचना जी ,बिलकुल ठीक वही उत्तर मैंने आपको मेल में...@ रचना जी ,बिलकुल ठीक वही उत्तर मैंने आपको मेल में दिया था जो कोई भी सज्जन देख,पढ़,समझ सकते हैं.इससे इतर होने का सवाल मेरे एक तंज "शुक्रिया,आइना दिखने के लिए' को लेकर हो सकता है क्योंकि वह तंज आप पकड़ नहीं पाईं .यह बात मैंने आपकी सोच को लेकर कहा था कि आपने अपनी तरफ से हमें आइना दिखा दिया ! फिर भी, आपका आभार ,आप कुछ कह तो पाईं और हाँ, हमने अपने यहाँ 'मीठा-मीठा' गप्प और कड़वा-कड़वा थू' मार्का माडरेशन भी नहीं लगा रखा है.आप बेखटके कुछ भी तर्कपूर्ण बात कह सकती हैं.ब्लॉगिंग का आनंद लीजिये ,हम आपको असाहित्यकार मानने न मानने वाले कौन होते हैं ?संतोष त्रिवेदीhttps://www.blogger.com/profile/00663828204965018683noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-87989701296622655962011-09-15T08:50:29.400+05:302011-09-15T08:50:29.400+05:30[Offline] santosh trivedi
to रचना
date 14 Septem...[Offline] santosh trivedi <br />to रचना <br />date 14 September 2011 18:39<br />subject Re: [बैसवारी baiswari] बुरा मान गए ! पर नई टिप्पणी.<br />mailed-by gmail.com<br />Signed by gmail.com<br /> Important mainly because of the words in the message.<br /> <br />hide details 18:39 (14 hours ago)<br /> <br /><br />Rachnaji ,aapka abhar !<br />mere mann me ye bol achanak aaye the.'to bura maan gaye' ki nakal maine jaanboojhkar nahi ki hai.vaise bhi bhaav kisi shayar ke naye nahi hote,andaaz zuda hota hai.<br />'kahte hain ghalib ka andaz-e-bayaan aur'<br />fir bhi aapke parishram ko salaam aur thanx aaina dikhaane ke liye !<br /><br /><br />ये इतना फरक क्यूँ हैं आप के सन्देश में जो ईमेल पर दिया और जो यहाँ दिया<br />@साहित्यिक-हाजमा भी दुरुस्त रहेगा , जितना साहित्य से आप का परिचय हैं जनाब उतना मै शायद अपने खून में लेकर पैदा हुई हूँ और फिर भी साहित्यकार होने का दंभ नहीं भरा हैं .<br />ओरीजिनल का अपना मज़ा हैं इन्स्पिरैरेशन का अपना वो कहते हैं ना lithographs जैसा कुछ .रचनाhttps://www.blogger.com/profile/03821156352572929481noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-45940540498084247992011-09-15T06:06:54.404+05:302011-09-15T06:06:54.404+05:30बुरा मानने मनवाने के लिए इतना भव्य आयोजन देखकर सि...बुरा मानने मनवाने के लिए इतना भव्य आयोजन देखकर सिहर उठा हूं मैं।अविनाश वाचस्पतिhttps://www.blogger.com/profile/05081322291051590431noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-41519338491651956972011-09-14T19:36:14.778+05:302011-09-14T19:36:14.778+05:30अब कहीं कोई बुरा न मान जाए .आपने बुरा नहीं माना ऐ...अब कहीं कोई बुरा न मान जाए .आपने बुरा नहीं माना ऐसे ही बुराई दूर होगी ..ब्लॉग जगत में तो बस यही एक बुराई है !Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-25528780393407057892011-09-14T19:21:31.935+05:302011-09-14T19:21:31.935+05:30@ रचना जी ,आपने एक शायर की लिखी पूरी ग़ज़ल पेश करक...@ रचना जी ,आपने एक शायर की लिखी पूरी ग़ज़ल पेश करके व गाने का पूरा ब्यौरा देकर बड़ा सराहनीय काम किया है.यह हमारी 'तथाकथित' ग़ज़ल के सन्दर्भ में होने भर के लिए तो ठीक है,पर मैंने इस गाने को ध्यान में रखकर नहीं लिखा है.हो सकता है,अवचेतन में कहीं इसके बोल रहे भी होंगे,पर सिर्फ़ 'बुरा मान गए' के अलावे मेरे कोई भी लफ्ज़ उस ग़ज़ल से नहीं मिलते.<br />हालाँकि,तकरीबन हर शायर एक ही भाव को अपने अंदाज़ में कहने को स्वतंत्र है और यहीं उसकी खूबी भी उभरकर आती है.आपने सुना तो होगा 'कहते हैं ग़ालिब का अंदाज़-ए-बयां और" सो इस नाते भी हम बरी हैं !<br />फिर भी,आपने इतना परिश्रम किया,सन्दर्भ दिए,इसका शुक्रिया ! वैसे आप भी इसी तर्ज़ पर बिना लाग-लपेट के अपनी रचना प्रस्तुत कर सकती हैं जैसे प्रवीण त्रिवेदी जी ने फ़रमाया है !चलो,मेरे ब्लॉग पर इसी बहाने आप आईं,आप बेखटके आया-जाया करें साहित्यिक-हाजमा भी दुरुस्त रहेगा ! आभार सहित !संतोष त्रिवेदीhttps://www.blogger.com/profile/00663828204965018683noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-17573460100986206782011-09-14T18:24:32.604+05:302011-09-14T18:24:32.604+05:30गाना / Title: प्यार आँखों से जताया तो बुरा मान गए ...गाना / Title: प्यार आँखों से जताया तो बुरा मान गए - pyaar aa.Nkho.n se jataayaa to buraa maan ga_e<br /><br />चित्रपट / Film: Ayee Milan Ki Bela<br /><br />संगीतकार / Music Director: शंकर - जयकिशन-(Shankar-Jaikishan) <br /><br />गीतकार / Lyricist: हसरत-(Hasrat) <br /><br />गायक / Singer(s): Rafi <br /><br />Raw Data:<br /><br /> <br /> <br /> <br /> <br /> <br /> <br /> <br />powered by<br /> <br /><br />Lyrics in English - ASCII<br />बोल :<br /><br /><br /><br />प्यार आँखों से जताया तो बुरा मान गए<br />हाल\-ए\-दिल उनको सुनाया तो बुरा मान गए<br />प्यार आँखों से ...<br /><br />अपने गजरे के हर एक फूल की तारीफ़ सुनी \-२<br />ज़ख़्म\-ए\-दिल हमने दिखाया तो बुरा मान गए<br />प्यार आँखों से ...<br /><br />वो तो हर रोज़ रुलाते थे घटाओं की तरह \-२<br />हमने इक रोज़ रुलाया तो बुरा मान गए<br />प्यार आँखों से ...<br /><br />बेख़ुदी पर मेरी हँसते रहे शर्माते रहे \-२<br />अब ज़रा होश में आया तो बुरा मान गए<br />प्यार आँखों से ...<br /><br />सिर्फ़ इतनी सी ख़ता पर हमें दुश्मन जाना \-२<br />सर को क़दमों पे झुकाया तो बुरा मान गए<br />प्यार आँखों से ...रचनाhttps://www.blogger.com/profile/03821156352572929481noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-68471108236331770082011-09-14T16:31:19.558+05:302011-09-14T16:31:19.558+05:30बहुत बढ़िया ...बहुत बढ़िया ...रेखाhttps://www.blogger.com/profile/14478066438617658073noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-70044849484903332802011-09-14T12:57:27.074+05:302011-09-14T12:57:27.074+05:30ये रतो उनकी अदा है ... बुरा मान कर भी वो बुरा नहीं...ये रतो उनकी अदा है ... बुरा मान कर भी वो बुरा नहीं मानते और न चाहते हुवे भो बुरा मान जाते हैं ...दिगम्बर नासवाhttps://www.blogger.com/profile/11793607017463281505noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-63960982587297075872011-09-14T08:36:06.389+05:302011-09-14T08:36:06.389+05:30@Arvind Mishra
ये नई अदा आपकी क़ातिलाना है ,...@Arvind Mishra <br />ये नई अदा आपकी क़ातिलाना है ,<br />शौक है या इज़हार-ए-ग़म का बहाना है !संतोष त्रिवेदीhttps://www.blogger.com/profile/00663828204965018683noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-87301109602021606142011-09-14T08:24:13.035+05:302011-09-14T08:24:13.035+05:30http://www.youtube.com/watch?v=UJZqSf3CTZohttp://www.youtube.com/watch?v=UJZqSf3CTZoArvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-33611616874919034002011-09-14T08:19:28.018+05:302011-09-14T08:19:28.018+05:30शेर-ओ-शायरी का वो माद्दा नहीं रहा !!
जिस पे मुझे ...शेर-ओ-शायरी का वो माद्दा नहीं रहा !!<br />जिस पे मुझे नाज था वो दिल नहीं रहा <br /><br />गो हाथों में दम नहीं आखों में तो जुम्बिश है <br />रहने दो सागरों मीना मेरे सामने ...Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-24341403042892708732011-09-14T08:10:15.493+05:302011-09-14T08:10:15.493+05:30बढ़िया कबित्तई शुरू किये हैं आप भी! जारी राखें! मे...बढ़िया कबित्तई शुरू किये हैं आप भी! जारी राखें! मेहदी साहिब को सुनना बढ़िया लगा।Amrendra Nath Tripathihttps://www.blogger.com/profile/15162902441907572888noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-13507010539424284172011-09-14T07:35:10.364+05:302011-09-14T07:35:10.364+05:30वाह! संतोष जी आपका 'बुरा मान गए' पढकर
बह...वाह! संतोष जी आपका 'बुरा मान गए' पढकर <br />बहुत अच्छा लगा.सुन्दर प्रस्तुति के लिए आभार.<br /><br />मेरे ब्लॉग पर आईयेगा.<br />मेरी नई पोस्ट पर आपका इंतजार है.Rakesh Kumarhttps://www.blogger.com/profile/03472849635889430725noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-55810313312087934432011-09-14T06:23:10.295+05:302011-09-14T06:23:10.295+05:30@ अनूप शुक्ल
तख़ल्लुस तो हमने अपना,कब का रखा है &...@ अनूप शुक्ल<br />तख़ल्लुस तो हमने अपना,कब का रखा है 'चंचल'<br />बस,शेर-ओ-शायरी का,अब माद्दा नहीं रहा !!<br /><br />@ प्रवीण त्रिवेदी <br />मुबारक हो आपको दुनाली फतेहपुरी,<br />हमने तमंचा ले लिया तो बुरा मान गए !संतोष त्रिवेदीhttps://www.blogger.com/profile/00663828204965018683noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-29959075047916933052011-09-13T23:53:08.455+05:302011-09-13T23:53:08.455+05:30टीपते रहे बिना रुके अब तक, तो कोई बात नहीं
आज आने...टीपते रहे बिना रुके अब तक, तो कोई बात नहीं <br />आज आने में ज़रा देर क्या हुई तो बुरा मान गए|<br />~दुनाली फतेहपुरीप्रवीण त्रिवेदीhttps://www.blogger.com/profile/02126789872105792906noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-5138498992353297012011-09-13T23:24:53.314+05:302011-09-13T23:24:53.314+05:30चकाचक है जी! लेकिन कोई तखल्लुस भी तो रखा जाये! :)चकाचक है जी! लेकिन कोई तखल्लुस भी तो रखा जाये! :)अनूप शुक्लhttps://www.blogger.com/profile/07001026538357885879noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-70067467960582455562011-09-13T22:36:25.848+05:302011-09-13T22:36:25.848+05:30@ Arvind Mishra
सोते-सोते उठ के बैठा हूँ अभी,
लग...@ Arvind Mishra <br /><br />सोते-सोते उठ के बैठा हूँ अभी,<br />लगा, मेरे महबूब ने पुकारा मुझको !<br /><br />बस्स,सरकार यूँ ही कभी अपने से मिल लेता हूँ !संतोष त्रिवेदीhttps://www.blogger.com/profile/00663828204965018683noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-283054150512920272011-09-13T22:36:21.546+05:302011-09-13T22:36:21.546+05:30भाई वाह, हमें बड़ा ही अच्छा लगा।भाई वाह, हमें बड़ा ही अच्छा लगा।प्रवीण पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/10471375466909386690noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3648196938872431745.post-30565580732991374232011-09-13T22:32:17.921+05:302011-09-13T22:32:17.921+05:30तो हजरत शेरो शायरी में भी आबाद हैं ....और फिर मेहं...तो हजरत शेरो शायरी में भी आबाद हैं ....और फिर मेहंदी हसन का तड़का क्या कहने ..<br />मगर ये है किसके लिए ? :)Arvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.com